स्वच्छ सर्वेक्षण में फ़ुस्स हो गया देहरादून : नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित एक विशेष समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने स्वच्छ सर्वेक्षण 2024-25 के अंतर्गत उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले शहरों और नगर निकायों को सम्मानित किया। इस कार्यक्रम का आयोजन आवास एवं शहरी कार्य मंत्रालय द्वारा किया गया था, जिसमें केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल सहित कई उच्चाधिकारी और विशिष्ट अतिथि मौजूद रहे।
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उत्तराखंड के लिए इस बार का स्वच्छता सर्वेक्षण कुछ शहरों के लिए उपलब्धि तो कुछ के लिए चेतावनी लेकर आया। देहरादून नगर निगम को राष्ट्रीय स्तर पर 62वीं रैंक प्राप्त हुई, लेकिन यह पिछले सालों के मुकाबले संतोषजनक सुधार नहीं मानी जा रही। वहीं, हरबर्टपुर नगर पालिका की स्थिति भी चिंताजनक रही, जो अब तक खुले में शौच मुक्त का दर्जा हासिल नहीं कर सकी है और कूड़ा मुक्त शहरों की स्टार रेटिंग से भी वंचित रह गई।
राज्य के अन्य प्रमुख शहरों की रैंकिंग इस प्रकार रही: हरिद्वार को 363वां, अल्मोड़ा को 907वां, हल्द्वानी को 291वां, कोटद्वार को 232वां और पिथौरागढ़ को 177वां स्थान प्राप्त हुआ। ये आंकड़े इस ओर संकेत करते हैं कि कई शहरों को स्वच्छता के मानकों पर अभी काफी सुधार करने की आवश्यकता है।
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हालांकि, लालकुआं के लिए यह अवसर गौरवपूर्ण रहा। शहर को स्वच्छता श्रेणी में बेहतर प्रदर्शन के लिए राष्ट्रपति द्वारा विशेष सम्मान मिला। यहां स्थानीय निकायों और नागरिकों के संयुक्त प्रयासों से चलाए गए स्वच्छता अभियानों ने उल्लेखनीय सफलता हासिल की है।
मंत्रालय की ओर से स्पष्ट किया गया कि यह सर्वेक्षण सिर्फ रैंकिंग का माध्यम नहीं है, बल्कि इसका उद्देश्य नागरिकों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता बढ़ाना और सामूहिक जिम्मेदारी की भावना को मजबूत करना है। राज्य और स्थानीय निकायों को मिलकर काम करने की जरूरत है ताकि भविष्य में उत्तराखंड के शहर स्वच्छता में बेहतर प्रदर्शन कर सकें।