Kedarnath Online pooja घर बैठे कीजिये बद्री-केदार में ऑनलाइन पूजा : आज हम आपको एक ख़ास जानकारी दे रहे हैं। अगर आप उत्तराखंड के चार धाम यात्रा में शामिल नहीं हो पा रहे हैं तो ये आपके लिए महत्वपूर्ण जानकारी है। चार धाम यात्रा के लिए पंजीकरण प्रक्रिया पूरी करने के बाद, अब श्रद्धालु 15 अप्रैल से ऑनलाइन पूजा बुकिंग करा सकेंगे।विशेष रूप से बद्रीनाथ और केदारनाथ धाम में दर्शन करने वाले भक्त इस सुविधा का लाभ उठा सकेंगे। बद्री-केदार मंदिर समिति ने इस ऑनलाइन पूजा बुकिंग प्रक्रिया को सरल और सुगम बनाने के लिए आवश्यक तैयारियाँ पूरी कर ली हैं।
भक्तजन पूजा बुकिंग के लिए आधिकारिक वेबसाइट badrinath-kedarnath.gov.in पर जाकर आवश्यक प्रक्रिया को पूरा कर सकते हैं। इस पोर्टल पर विभिन्न प्रकार की पूजा सेवाएँ उपलब्ध होंगी, जिनमें अभिषेक, महापूजा, संकल्प पूजा और अन्य विशेष अनुष्ठान सम्मिलित हैं । पूजा बुकिंग प्रक्रिया के अंतर्गत बद्री-केदार मंदिर समिति द्वारा अलग-अलग पूजा सेवाओं के लिए निर्धारित शुल्क लिया जाएगा। शुल्क का निर्धारण पूजा के प्रकार और अनुष्ठान की महत्ता के आधार पर किया गया है। श्रद्धालु अपनी सुविधा अनुसार पूजा सेवा का चयन कर सकते हैं और ऑनलाइन माध्यम से भुगतान कर सकते हैं।
ऑनलाइन पूजा बुकिंग की यह सुविधा उन भक्तों के लिए विशेष रूप से उपयोगी होगी जो किसी कारणवश स्वयं मंदिर में उपस्थित नहीं हो सकते, लेकिन वे अपनी आस्था के अनुसार पूजा-अर्चना करवाना चाहते हैं। इस डिजिटल पहल से मंदिर प्रशासन को भी सुचारु रूप से भक्तों की धार्मिक आवश्यकताओं को पूरा करने में सहायता मिलेगी।
भगवान की विशेष कृपा प्राप्त करने और सुख-समृद्धि की प्राप्ति के लिए महाअभिषेक पूजा का आयोजन किया जाता है। इस अनुष्ठान को संपन्न कराने के लिए श्रद्धालुओं को ₹4700 का भुगतान करना होगा।भगवान शिव की असीम कृपा प्राप्त करने और सभी प्रकार के कष्टों से मुक्ति पाने के लिए रुद्राभिषेक पूजा करवाई जाती है। इस अनुष्ठान को विधिवत संपन्न कराने के लिए ₹7200 का शुल्क निर्धारित किया गया है।
धार्मिक स्थलों पर प्रातः एवं संध्या के समय मंगल आरती का आयोजन किया जाता है। यदि श्रद्धालु इस पवित्र आरती में सम्मिलित होना चाहते हैं, तो उन्हें ₹200 से ₹500 प्रति व्यक्ति शुल्क का भुगतान करना होगा।यदि कोई श्रद्धालु दोनों धामों में पूरे दिन पूजा करना चाहता है, तो उसके लिए ₹28,600 का शुल्क निर्धारित किया गया है। इस विशेष पूजा के अंतर्गत विभिन्न अनुष्ठानों, अभिषेक, हवन एवं मंत्रोच्चारण का समावेश किया जाता है, जिससे जीवन में सुख, शांति और समृद्धि प्राप्त होती है।